Rajasthan News: मेवाड़ के पूर्व राजपरिवार का विवाद सड़क पर आया, हंगामा और पथराव
विश्वराज सिंह मेवाड़ की पगड़ी-दस्तूर की रस्म के बाद सिटी पैलेस के धूणी स्थल पर जाने का कार्यक्रम तय किया गया। यहीं से विवाद शुरू हो गया। वर्तमान सिटी पैलेस का संचालन महेंद्र सिंह मेवाड़ के छोटे भाई अरविंद सिंह मेवाड़ की ओर से किया जा रहा है। अरविंद सिंह मेवाड़ के पक्ष ने बगैर अनुमति किसी के भी प्रवेश पर रोक लगा दी। सिटी पैलेस में घुसने के विवाद को लेकर देर रात तक पथराव व माहौल गरमाने के बाद जिला मजिस्ट्रेट (नगर) ने विवादित स्थल को कुर्क करते हुए घंटाघर थानाधिकारी रिसीवर नियुक्त कर दिया। थानाधिकारी जिला मजिस्ट्रेट के समक्ष पूरे घटनाक्रम की रिपेार्ट देते हुए कानून व्यवस्था बिगडऩे का हवाला दिया था। जिला मजिस्ट्रेट ने रिपोर्ट पर विवादित स्थल सिटी पैलेस स्थित बड़ी पोल से धूणी व जनाना महत तक जाने के रास्ते व धूणी वाले स्थान को कुर्क किया तथा मामले में घंटाघर थानाधिकारी को रिसीवर नियुक्त किया।
उदयपुर। सिटी पैलेस में प्रवेश को लेकर मेवाड़ के पूर्व राजपरिवार (former royal family of Mewar ) के बीच उपजा विवाद सोमवार को सड़क पर आ गया। देर रात विवाद इतना बढ़ा कि सिटी पैलेस गेट के बाहर पथराव शुरू हो गया। हालात बिगड़ता देख पुलिस ने पथराव करने वालों को खदेड़ा। पत्थरबाजी में एक सीआइ और पांच अन्य लोग घायल हो गए है। देर रात सवा बजे विश्वराजसिंह मेवाड़ लालघाट से उठकर समोरबाग की तरफ रवाना हो गए और समर्थकों को भी घर जाने के लिए कहा। उधर, कलक्टर ने सहमति न बनने पर देर रात सिटी पैलेस के विवादित हिस्से को कुर्क कर उस पर रिसीवर नियुक्त (The disputed portion of the City Palace was attached and a receiver was appointed.) कर दिया।
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समर्थकों ने जमकर नारेबाजी की
दरअसल, पूर्व राजपरिवार के सदस्य और पूर्व सांसद महेंद्रसिंह मेवाड़ (Former MP Mahendra Singh Mewar) के निधन के बाद उनके उत्तराधिकारी के तौर पर सोमवार को चित्तौड़गढ़ में पगड़ी दस्तूर कार्यक्रम आयोजित हुआ। इसके बाद विश्वराजसिंह मेवाड़ उदयपुर पहुंचे थे। यहां पहले से तैनात पुलिस-प्रशासन ने उनके काफिले को समोर बाग मोड़ पर रोक दिया। उनके प्रतिनिधि मंडल की ओर से बातचीत होने पर पुलिस ने तीन वाहनों को बैरिकेडिंग के अंदर प्रवेश दिया। इस दौरान उनके समर्थकों ने जमकर नारेबाजी की। आखिर बाद में सभी समर्थक बैरिकेड्स तोड़कर अंदर पहुंच गए।
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सिटी पैलेस गेट के पास पथराव
यहां से शीतला माता मंदिर होकर पैदल मार्च करते हुए जगदीश चौक पहुंचे, जहां लगे बैरिकेड्स से सिटी पैलेस की ओर नहीं जा सके। देर रात अचानक सिटी पैलेस गेट (जगदीश मंदिर) के पास पथराव (Stone pelting near City Palace Gate) शुरू हो गया। इसमें कुछ लोगों चोट आई है। पुलिस ने हालात को कुछ देर में ही नियंत्रित कर लिया। उधर, दूसरा पक्ष किसी भी स्थिति में विश्वराज सिंह मेवाड़ को अंदर नहीं जाने देने की बात कह रहा है।
यह है विवाद की वजह
दरअसल, विश्वराज सिंह मेवाड़ की पगड़ी-दस्तूर की रस्म (Vishwaraj Singh Mewar’s turban-dastur ritual) के बाद सिटी पैलेस के धूणी स्थल पर जाने का कार्यक्रम तय किया गया। यहीं से विवाद शुरू हो गया। वर्तमान सिटी पैलेस का संचालन महेंद्र सिंह मेवाड़ के छोटे भाई अरविंद सिंह मेवाड़ की ओर से किया जा रहा है। अरविंद सिंह मेवाड़ के पक्ष ने बगैर अनुमति किसी के भी प्रवेश पर रोक लगा दी।
विवादित हिस्सा कुर्क, रिसीवर नियुक्त
सिटी पैलेस में घुसने के विवाद को लेकर देर रात तक पथराव व माहौल गरमाने के बाद जिला मजिस्ट्रेट (नगर) ने विवादित स्थल को कुर्क करते हुए घंटाघर थानाधिकारी रिसीवर नियुक्त कर दिया। थानाधिकारी जिला मजिस्ट्रेट के समक्ष पूरे घटनाक्रम की रिपेार्ट देते हुए कानून व्यवस्था बिगडऩे का हवाला दिया था। जिला मजिस्ट्रेट ने रिपोर्ट पर विवादित स्थल सिटी पैलेस स्थित बड़ी पोल से धूणी व जनाना महत तक जाने के रास्ते व धूणी वाले स्थान को कुर्क किया तथा मामले में घंटाघर थानाधिकारी को रिसीवर नियुक्त किया।
नहीं बनी सहमति
जगदीश चौक में माहौल के दौरान विश्वराजसिंह का प्रतिनिधि मंडल सिटी पैलेस के त्रिपोलिया गेट पर पहुंचा, जहां कलक्टर अरविंद पोसवाल, आईजी राजेश मीणा, एसपी योगेश गोयल (Collector Arvind Poswal, IG Rajesh Meena, SP Yogesh Goyal) से वार्ता के दौर चले, लेकिन प्रवेश की सहमति नहीं बनी।
बंद रहा सिटी पैलेस
शाम से लेकर रात तक विश्वराजसिंह के समर्थकों ने पुलिस से भिड़ने का प्रयास किया, लेकिन पुलिसकर्मियों ने संयम रखा। विश्वराजसिंह के सिटी पैलेस में जाने का कार्यक्रम तय होने को लेकर सोमवार को सुबह से सिटी पैलेस बंद रखा गया।
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