SDM slapping scandal: समरावता थप्पड़ कांड में बनी सहमति, नुकसान की भरपाई करेगी राज्य सरकार
गौरतलब है कि बीती 13 नवंबर को देवली-उनियारा विधानसभा उपचुनाव में मतदान के दौरान यह विवाद उत्पन्न हुआ था। घटना के विरोध में समरावता और आसपास के ग्रामीणों ने आंदोलन शुरू किया था। आंदोलन के चलते वार्ता की कई कोशिशें हुईं लेकिन आज जाकर यह सहमति बनी। सरकार द्वारा सभी मांगें मान लिए जाने के बाद आंदोलन खत्म करने का निर्णय लिया गया। ग्रामीण प्रतिनिधिमंडल अब मुख्यमंत्री से मुलाकात कर अपनी बात रखेगा।

जयपुर। समरावता में एसडीएम को थप्पड़ (SDM slapped in Samravata) मारने की घटना के बाद सरकार और ग्रामीणों के बीच मामले की जांच और ग्रामीणों के नुकसान की भरपाई को लेकर सहमति बन गई है। घटना की जांच अब संभागीय आयुक्त की अध्यक्षता में गठित कमेटी करेगी।
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संभागीय आयुक्त की अध्यक्षता में कमेटी गठित
देवली-उनियारा विधानसभा उपचुनाव (Devli-Uniara Assembly by-election) के दौरान हुए एसडीएम थप्पड़ कांड में सरकार और ग्रामीणों के बीच हुए हाई वोल्टेज ड्रामे के बाद अब सहमति बन गई है। 13 नवंबर को हुई इस घटना की जांच अब संभागीय आयुक्त की अध्यक्षता में गठित कमेटी करेगी। साथ ही घटना के दौरान ग्रामीणों को हुए नुकसान की भरपाई भी राज्य सरकार करेगी।
ग्रामीणों के प्रतिनिधिमंडल के बीच वार्ता
गृह राज्यमंत्री जवाहरसिंह बेढम, कैबिनेट मंत्री किरोड़ीलाल मीणा, कैबिनेट मंत्री कन्हैयालाल चौधरी (Minister of State for Home Jawahar Singh Bedham, Cabinet Minister Kirodilal Meena, Cabinet Minister Kanhaiyalal Chaudhary.) और समरावता व आसपास के ग्रामीणों के प्रतिनिधिमंडल के बीच वार्ता हुई। इसमें ग्रामीणों की मांगों पर सहमति बन गई। दोनों पक्षों के बीच हुई वार्ता में लिए गए प्रमुख निर्णयों में ये बिंदु शामिल हैं।
घटना की जांच : घटना की निष्पक्ष जांच के लिए संभागीय आयुक्त की अध्यक्षता में एक कमेटी का गठन होगा और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
नुकसान की भरपाई : घटना के दौरान ग्रामीणों को हुए नुकसान की भरपाई राज्य सरकार करेगी।
ग्राम पंचायतों का स्थानांतरण : समरावता और आसपास की पांच ग्राम पंचायतों को देवली उपखंड से हटाकर उनियारा उपखंड में शामिल किया जाएगा।
ग्रामीण जांच कमेटी के प्रस्ताव पर सहमत
ग्रामीण शुरू में संभागीय आयुक्त स्तर की जांच पर सहमत नहीं थे और न्यायिक जांच की मांग कर रहे थे। वार्ता के दौरान किरोड़ीलाल मीणा ने समझाइश दी, जिसके बाद ग्रामीण जांच कमेटी के प्रस्ताव पर सहमत हुए। अब यह मामला मुख्यमंत्री तक पहुंचाया जाएगा।
आंदोलन खत्म करने का निर्णय
गौरतलब है कि बीती 13 नवंबर को देवली-उनियारा विधानसभा उपचुनाव में मतदान के दौरान यह विवाद उत्पन्न हुआ था। घटना के विरोध में समरावता और आसपास के ग्रामीणों ने आंदोलन शुरू किया था। आंदोलन के चलते वार्ता की कई कोशिशें हुईं लेकिन आज जाकर यह सहमति बनी। सरकार द्वारा सभी मांगें मान लिए जाने के बाद आंदोलन खत्म करने का निर्णय लिया गया। ग्रामीण प्रतिनिधिमंडल अब मुख्यमंत्री से मुलाकात कर अपनी बात रखेगा।
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