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विधानसभा में फिर से गूंजा जिले खत्म करने का मुद्दा, MLA मोदी बोले- राजनीति द्वेषता के चलते जिले हटाए

Rajasthan Assembly

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जयपुर। राजस्थान विधानसभा के बजट सत्र के चौथे दिन की कार्यवाही भी गहमागहमी और हंगामे के साथ शुरू हुई। नए जिले और संभागों को खत्म करने के मुद्दे पर गुरुवार को भी सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच तीखी बहस हुई। विधानसभा में स्थगन प्रस्ताव के जरिए कांग्रेस विधायक सुरेश मोदी और रामकेश मीणा ने मामला उठाते हुए नीमकाथाना और गंगापुर सिटी जिलों को खत्म करने पर सवाल उठाए। इसके बाद जमकर हंगामा हुआ।


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MLA सुरेश मोदी ने उठाया मामला

नीमकाथाना से कांग्रेस विधायक सुरेश मोदी ने कहा कि राज्य सरकार ने संभाग और जिलों का दर्जा समाप्त करके वहां की जनता के साथ अन्याय और अत्याचार किया है। युवाओं के भविष्य के साथ खिलवाड़ किया है और क्षेत्र के विकास को खत्म करने का काम किया है। सरकार ने मापदंडों पर नहीं, राजनीति द्वेषता के चलते फैसले लिए है। सुरेश मोदी ने कहा कि शेखावाटी क्षेत्र में तीनों सांसद बीजेपी के हारे और 21 में से 14 आपके विधायक हारे। यह हार आप पचा नही पाए और संभाग व जिले खत्म करने का फैसला लिया। उन्होंने कहा कि डीग को जिला रखने की बात कहते वक्त आप कहते हो कि दूसरे राज्य की सीमा लगती है। लेकिन, आप ये कैसे भूल जाते हो कि हरियाणा राज्य की सीमा नीमकाथाना जिले के साथ लगती है। उसका आप जिक्र नहीं करते हो। विधायक मोदी ने कहा कि पिक एंड चूज की नीति के आधार पर जिले खत्म किए गए। पंवार ​कमेटी ने सभी नए जिलों का दौरा किया था, लेकिन नीमकाथाना का दौरा नहीं किया था। सरकार की तरफ से उनको ये आदेश था कि नीमकाथाना जिले को हटाया जाएं। मेरा यही कहना कि जो जिले और संभाग हटाए गए हैं, उन्हें वापस घोषित करें।


MLA रामकेश मीणा ने भी उठाए सवाल
कांग्रेस विधायक रामकेश मीणा ने कहा कि पिछली सरकार ने 17 ​नए जिले बनाए थे। लेकिन, भाजपा सरकार ने 3 संभाग और 9 जिलों को निर​स्त कर दिया। भाजपा सरकार ने मापदंडों का कोई परीक्षण नहीं किया। केवल ऐसे लोगों की कमेटी गठित की, जिन्होंने पहले से तय कर रखा था कि इन जिलों को खत्म करना है। उन्होंने कहा कि डीग की दूरी भरतपुर की दूरी मात्र 38 किमी है।


विधि मंत्री पटेल ने दिया ये जवाब
इसके बाद विधि और संसदीय कार्य मंत्री जोगाराम पटेल ने जवाब देते हुए कहा कि नए जिले बनाने का मापदंड सेक्सन 15 में गठन करने और 16 में रदद् करने का अधिकार सरकार के पास है। कहा कि राजनीति से प्रेरित व्यक्ति को जिला समीक्षा अध्यक्ष नहीं बनाया गया है, आज तक जिलों के संबंध में 4 कमेटियां बनी है।मंत्री पटेल ने कहा कि भौगोलिक परिस्थितियां, प्रसाशनिक संरचना, जनभावना, पिछड़ापन, आधारभूत सुविधाएं, कानून व्यवस्था जैसे बिंदु पर धयान देते हैं। कांग्रेस ने अपने लंबे समय में एक भी जिले नहीं बनाए थे। उन्होंने कहा कि राजस्थान में अब तक बने सभी जिले बीजेपी सरकार ने बनाए और इस बार राजनीतिक लाभ के लिए कांग्रेस ने एक साथ कितने जिले बना दिए।


लगे नारे- ‘नए जिले वापस बहाल करो’
बताते चलें कि आज गुरुवार को भी विधानसभा में जिलों को लेकर खूब हंगामा हुआ। विधानसभा में ‘नए जिले वापस बहाल करो.. बहाल करो’ के नारे सदन में खूब गूंजे। इसके बाद विपक्ष के नेताओं ने स्पीकर की बात नहीं सुनी तो विधानसभा अध्यक्ष वासुदेव देवनानी ने सदन की कार्यवाही को कुछ देर के लिए स्थगित कर दिया। बता दें कार्यवाही वापस शुरू होने के बाद फिर से हंगागा होने के आसार हैं।


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