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SDM Thappad Kand: ‘मैं सरकारी आदेश का पालन कर रहा था,’ फर्जी वोटिंग के आरोप पर SDM ने दिया जवाब

SDM Thappad Kand

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जयपुर। राजस्थान के देवली-उनियारा उपचुनाव (Devli-Uniara by-election) में निर्दलीय उम्मीदवार नरेश मीणा की तरफ से एसडीएम को थप्पड़ मारने का मामला सामने आया है। इस बीच RAS अधिकारियों की तरफ से एक पेन डाउन हड़ताल जारी हुई और उम्मीदवार नरेश मीणा को गिरफ्तार कर लिया गया। इसको लेकर प्रत्याशी का आरोप था कि एसडीएम ने फर्जी वोटिंग कराई है। अब इस मामले में एसडीएम का भी जवाब सामने आ गया है।


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एसडीएम का भी जवाब सामने आया

राजस्थान में थप्पड़ कांड मामले में निर्दलीय प्रत्याशी नरेश मीणा (Independent candidate Naresh Meena) का आरोप था कि एसडीएम ने फर्जी वोटिंग कराई है। अब इस मामले में एसडीएम का भी जवाब सामने आ गया है। एसडीएम अमित चौधरी (SDM Amit Chaudhary) ने कहा वोटिंग बहिष्कार के चलते 10 बजे तक एक भी वोट नहीं डला था। जिला कलेक्टर ने उन्हें इसी बात के लिए भेजा था कि आप वोट डला दीजिए।


एसडीएम ने फर्जी वोटिंग की बात को स्वीकार किया
नरेश मीणा ने इस संबंध में एक वीडियो शेयर किया है, वीडियो शेयर करते हुए नरेश मीणा (Naresh Meena) ने कहा था कि एसडीएम ने फर्जी वोटिंग की बात को स्वीकार किया है। इस मामले में जब नरेश मीणा से सवाल किया गया कि क्या SDM को थप्पड़ मारना सही था? उन्होंने मीडिया से बातचीत में कहा था, ‘हां, बिल्कुल सही था। उस अधिकारी ने फर्जी वोटिंग कराई। यहां के लोगों की भावनाओं को तोड़ा। बता दें कि यह पूरा मामला देवली- उनियारा विधानसभा क्षेत्र के समरावता में ग्रामीणों की तरफ से अपनी मांगों को लेकर वोटिंग बहिष्कार (voting boycott) से शुरू हुआ था। इसके बाद वहां पहुंचे निर्दलीय प्रत्याशी नरेश मीणा वोटिंग मशीन चेक करने पहुंचे और नोकझोंक के दौरान उन्होंने अपना आपा खो दिया। तभी उन्होंने एसडीएम अमित चौधरी (SDM Amit Chaudhry) को थप्पड़ भी मारा दिया।


एसडीएम ने दिया जवाब
इस मामले में अमित चौधरी ने सफाई देते हुए कहा था कि समरावता गांव में वोटिंग बहिष्कार (Voting boycott in Samravata village) के चलते 10 बजे तक एक भी वोट नहीं डला था। जिला कलेक्टर ने उन्हें इसी बात के लिए भेजा था कि आप वोट डला दीजिए। जिला कलेक्टर ने कहा था, क्योंकि एक भी वोट पड़ जाता है तो यह 100% बायकॉट में नहीं आता है। एसडीएम ने आगे कहा, मैं तो सरकारी आदेशों का पालन कर रहा था। वोट डालने वालों में टीचर, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता और उसका हसबैंड शामिल था।


‘मैं कलेक्टर को मानता हूं इसका जिम्मेदार’
नरेश मीणा ने आगे कहा, जब पूरा गांव यहां मतदान का बहिष्कार करके बैठा था तो उसे क्या जरूरत थी फर्जी वोटिंग कराने की? उस अधिकारी ने आंगनबाड़ी की महिला को सस्पेंड करने की धमकी दी। वो बीजेपी (BJP) का एजेंट था। जानबूझकर उसकी ड्यूटी यहां लगाई गई ताकि भारतीय जनता पार्टी को इसका फायदा हो सके। मैं कलेक्टर को इसका जिम्मेदार मानता हूं।’


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